उत्तर प्रदेश में बसों को लेकर आरोप-प्रत्यारोप का दौर समाप्त होने का नाम नहीं ले रहा है। अब बड़ा बयान कांग्रेस की महासचिव प्रियंका गांधी वाड्रा की तरफ से आया है। उन्होंने अपने ट्विटर हैंडल से ट्विट करते हुए लिखा “उप्र सरकार का खुद का बयान है कि हमारी 1049 बसों में से 879 बसें जाँच में सही पायीं गईं। ऊँचा नागला बॉर्डर पर आपके प्रशासन ने हमारी 500 बसों से ज्यादा बसों को घंटों से रोक रखा है। इधर दिल्ली बॉर्डर पर भी 300 से ज्यादा बसें पहुँच रही हैं। कृपया इन 879 बसों को तो चलने दीजिए……हम आपको कल 200 बसें की नयी सूची दिलाकर बसें उपलब्ध करा देंगे। बेशक आप इस सूची की भी जाँच कीजिएगा। लोग बहुत कष्ट में हैं। दुखी हैं। हम और देर नहीं कर सकते।” इस ट्वीट से पहले प्रियंका गांधी की तरफ से उनके निजी सचिव संदीप सिंह उत्तर प्रदेश सरकार से बात कर रहे थे।
उप्र सरकार का खुद का बयान है कि हमारी 1049 बसों में से 879 बसें जाँच में सही पायीं गईं। ऊँचा नागला बॉर्डर पर आपके प्रशासन ने हमारी 500 बसों से ज्यादा बसों को घंटों से रोक रखा है। इधर दिल्ली बॉर्डर पर भी 300 से ज्यादा बसें पहुँच रही हैं। कृपया इन 879 बसों को तो चलने दीजिए..
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— Priyanka Gandhi Vadra (@priyankagandhi) May 19, 2020
इसके पहले उत्तर प्रदेश के अपर मुख्य सचिव अवनीश अवस्थी ने संदीप सिंह को पत्र लिखते हुए 500 बस नोएडा और 500 गाजियाबाद भेजने को कहा था। जिसके जवाब में प्रियंका गांधी के निजी सचिव संदीप सिंह ने कहा कि बसें आगरा सीमा पर पहुंच गई हैं। प्रशासन उन्हें उत्तर प्रदेश की सीमा में प्रवेश नहीं दे रहा है।
मंगलवार दोपहर को उत्तर प्रदेश सरकार के कैबिनेट मंत्री सिद्धार्थ नाथ सिंह ने प्रेस से कहा कि हम बसों को लेने के लिए तैयार हैं लेकिन कांग्रेस बसों के नाम पर टैक्सी और दुपहरिया वाहनों की जानकारी साझा कर रही है।
बसों की राजनीति पर मायावती ने क्या कहा
उत्तर प्रदेश की पूर्व मुख्यमंत्री और बसपा सुप्रीमों मायावती ने इस पूरे प्रकरण पर कांग्रेस को ही घेर लिया। मंगलवार दोपहर को ट्वीट करते हुए उन्होंने लिखा “यदि कांग्रेस पार्टी के पास वास्तव में 1,000 बसें हैं तो उन्हें लखनऊ भेजने में कतई भी देरी नहीं करनी चाहिये, क्योंकि यहाँ भी श्रमिक प्रवासी लोग भारी संख्या में अपने घरों में जाने का काफी बेसबरी से इन्तज़ार कर रहें हैं।”
3. बी.एस.पी. का यह भी कहना है कि यदि कांग्रेस पार्टी के पास वास्तव में 1,000 बसें हैं तो उन्हें लखनऊ भेजने में कतई भी देरी नहीं करनी चाहिये, क्योंकि यहाँ भी श्रमिक प्रवासी लोग भारी संख्या में अपने घरों में जाने का काफी बेसबरी से इन्तज़ार कर रहें हैं। 3/3
— Mayawati (@Mayawati) May 19, 2020
क्या है पूरा मामला
उत्तर प्रदेश में देश भर से लगातार प्रवासी मजदूर आ रहें हैं। बीते शनिवार को प्रियंका गांधी ने उत्तर प्रदेश सरकार से 1000 बसों को उत्तर प्रदेश की सीमा में प्रवेश को लेकर अनुमति मांगी थी। सोमवार को उत्तर प्रदेश सरकार ने सभी बसों की विस्तृत जानकारी मांगा था। सोमवार की ही शाम को प्रियंका गांधी के निजी सचिव संदीप सिंह ने पत्र लिखकर 1000 बसों की सूची उपलब्ध करवा दिया था। जिसके बाद उत्तर प्रदेश के मुख्य अपर सचिव अवनीश अवस्थी ने प्रियंका गांधी के निजी सचिव को एक पत्र लिखा और कहा कि मंगलवार तक सभी बस चालकों का ड्राइविंग लाइसेंस के साथ-साथ सभी बसें लखनऊ भेज दी जाए। तभी से लेकर उतर प्रदेश में राजनीतिक पारा गरम है।