राहुल मिश्रा
रिजर्व बैंक ऑफ इंडिया (आरबीआई) गवर्नर शक्तिकांत दास ने रेपो रेट कटौती का ऐलान किया है. इस कटौती के बाद आरबीआई की रेपो रेट 4.40 फीसदी से घटकर 4 फीसदी हो गई है।
आरबीआई गवर्नर ने बताया कि पिछले तीन दिन में MPC ने घरेलू और ग्लोबल माहौल की समीक्षा की. इसके बाद रेपो रेट में 0.40 फीसदी की कटौती का फैसला लिया गया है। लॉकडाउन में यह दूसरी बार है जब आरबीआई ने रेपो रेट पर कैंची चलाई है।इससे पहले 27 मार्च को आरबीआई गवर्नर ने 0.75 फीसदी कटौती का ऐलान किया था। इसके बाद बैंकों ने लोन पर ब्याज दर कम कर दिया था। जाहिर सी बात है कि इससे आपकी ईएमआई (EMI) भी पहले के मुकाबले कम हो गई है। इसके साथ ही लोन की किस्त देने पर 3 महीने की अतिरिक्त छूट दी गई है। मतलब कि अगर आप अगले 3 महीने तक अपने लोन की ईएमआई नहीं देते हैं तो बैंक दबाव नहीं डालेगा।
आरबीआई ने लॉकडाउन के शुरुआती दिनों में प्रेस कॉन्फ्रेंस कर बैंकों से 3 महीने के लिए लोन और ईएमआई पर छूट देने को कहा था। इसके बाद अधिकतर बैंकों ने इसे 3 महीने के लिए लागू कर दिया था। अब आरबीआई के नए 3 महीनों के लिए मोहलत के ऐलान के बाद ग्राहकों को कुल 6 महीने की छूट मिल जाएगी। मतलब ये कि आप कुल 6 महीने तक लोन की ईएमआई नहीं देना चाहते हैं तो बैंकों की ओर से कोई दबाव नहीं पड़ेगा। हालांकि,इसके लिए आपको अतिरिक्त ब्याज देनी पड़ेगी.
उन्होंने कहा कि मार्च में आरबीआई ने कर्ज लेने वाले लोगों, कर्जदाताओं और अन्य इकाइयों जैसे म्युचुअल फंड्स के लिए कई सकारात्मक कदमों की घोषणाएं की थीं। इसके साथ ही वादा भी किया था कि आने वाली परिस्थितियों को देखते हुए रिजर्व बैंक और जरूरी कदम उठाएगा।
आरबीआई गवर्नर ने बताया की लॉकडाउन से आर्थिक गतिविधियों में भारी गिरावट हुई है,छह बड़े औद्योगिक राज्यों में ज्यादातर रेड जोन रहे,मार्च में कैपिटल गुड्स के उत्पादन में 36 फीसदी की गिरावट रही है साथ ही साथ कंज्यूमर ड्यूरेबल के उत्पादन में 33 फीसदी की गिरावट तथा औद्योगिक उत्पादन में मार्च में 17 फीसदी की गिरावट देखी गई है।
उन्होंने बताया की मैन्युफैक्चरिंग में 21 फीसदी की गिरावट, कोर इंडस्ट्रीज के आउटपुट में 6.5 फीसदी की कमी ,खरीफ की बुवाई में 44 फीसदी की बढ़ोतरी हुई है,खाद्य महंगाई फिर अप्रैल में बढ़कर 8.6 फीसदी हो गई,इस छमाही में महंगाई उंचाई पर बनी रहेगी, लेकिन अगली छमाही में इसमें नरमी आ सकती है।2020-21 में भारत के विदेशी मुद्रा भंडार 9.2 बिलियन डॉलर की बढ़ोतरी दर्ज की गई। भारत का विदेशी मुद्रा भंडार अभी 487 बिलियन डॉलर का है।
15,000 करोड़ रुपये का क्रेडिट लाइन एग्जिम बैंक को दिया जाएगा। सिडबी को दी गई रकम का इस्तेमाल आगे और 90 दिन तक करने की इजाजत दी गई है।